विशेष :- हम किसी भी पार्टी के ना प्रचारक हैं और ना विरोधी
सनातन🚩समाचार🌎 का लक्ष्य केवल एक ही है, वह यह कि सनातन धर्म का प्रचार प्रसार करना या फिर वह खबरें लोगों तक पहुंचाते रहना जिन खबरों को अक्सर मेनस्ट्रीम मीडिया छिपा जाता है या बताने में शर्माता है। ऐसा क्यों है यह तो वही जाने। हालांकि हिंदुस्तान में काम कर रहा मीडिया 99 % हिंदू द्रोही ही है परंतु कभी-कभी यह लोग गलती से सही बातें भी कर जाते हैं। उसी को लेकर अभी आपके सामने यह लेख प्रस्तुत है। लगभग 1400 वर्षों से सारी दुनिया में हिंदुओं के साथ जो हुआ वह तो जगजाहिर है ही, परंतु वर्तमान की बात करें तो सन 1947 में मिली आजादी के बाद भी हिंदुओं के लिए हालात तो आज भी जस के तस हैं, क्योंकि हिंदू आज भी बुरी तरह त्रस्त हैं, हमेशा की तरह अपने ही नेताओं का शिकार हैं।
एक आध अपवाद को छोड़कर यह प्रमाणिक है की हिंदुओं का नाश हिंदुओं के नेताओं ने ही किया है फिर भले ही वह नेता किसी भी पार्टी के क्यों ना रहे हों। भगवान श्री राम जी की जन्म स्थली पर मंदिर का निर्माण हो इस चाहत को लेकर हिंदुओं के लाखों महान पुरखों ने अपने बलिदान दिए। आजादी के बाद आशा थी कि उनका यह सपना पूरा होगा परंतु हिंदुओं के ही दुष्ट नेताओं ने इस कार्य में अड़ंगे लगाए। कभी इन लोगों ने कहा कि राम जी केवल काल्पनिक पात्र हैं इनका कोई अस्तित्व नहीं। और कभी इन लोगों ने हिंदुओं की धरोहर श्री राम सेतु को तोड़ देने तक की योजना बनाई, और इन्हीं नेताओं ने अदालत में यह भी कहा कि श्री राम मंदिर पर फैसले को अभी और लटकाना चाहिए।
इन्हीं नेताओं में से एक नेता ने कहा कि हिंदू मंदिर में लड़की छेड़ने जाते हैं, और वह हिंदू और हिंदुत्व में भी अंतर समझाने में लगा है। यह ठीक इस तरह की ही बात है जैसे मां और ममता को अलग किया जाना। और कभी कोई हिंदुओं का बड़ा नेता यह भी बोल देता है कि इस्लाम के बिना हिंदुत्व अधूरा है, और कभी यह कह देता है कि युवा अब 20 साल के लिए देवी देवताओं को भूल जाएं। एक तरफ जहां हिंदुओं की लड़कियों की इज्जत हर रोज तार तार की जा रही थी तो हिंदू का ही एक नेता बोला लड़कों से गलती हो जाती है। यही नेता लोग कह रहे थे की राम जन्म भूमि पर अस्पताल बनना चाहिए, मस्जिद भी साथ बना देनी चाहिए।
हिंदुओं को अदालत का फैसला मानने की सलाह देने वाले इन्हीं नेताओं ने शाहबानो के लिए संविधान ही बदल दिया था। हिंदुओं का ही एक नेता वक्फ बोर्ड को अधिक से अधिक मालामाल करने में दिन-रात लगा रहता है। वह मस्जिदों के मौलवियों को वहां के सेवादारों को तो तनख्वाह देता है, परंतु किसी भी मंदिर के पुजारी जी को एक पैसा भी नहीं देता है। अभी पिछले दिनों बाबा विश्वनाथ कॉरिडोर बनाने के समय भी इन्हीं हिंदुओं के नेताओं के पेट में बहुत भयंकर दर्द हुआ था कि इतना पैसा क्यों खर्च किया जा रहा है ? इन्होंने तरह-तरह के सवाल उठाए थे।
हिंदुओं के इन्हीं नेताओं का केवल एक ही लक्ष्य रहता है कि कैसे भी करके हिंदुओं की भावनाओं को आहत किया जाए। यह भी एक विडंबना है कि हिंदू ही बार-बार इन नेताओं को वोट देते हैं इनकी चाटुकारी करते हैं। हिंदुओं के यही नेता उस समय मौन हो जाते हैं जब हिंदुओं के संतो को जेलों में ठूंस दिया जाता है इन्हें कोई फर्क नहीं पड़ता क्योंकि इन्हें तो सबका विकास जो करना है। सनातन समाचार किसी भी नेता या पार्टी का ना तो समर्थक है ना विरोधी परंतु जहां बात धर्म की हो वहां तो खुलकर हम अपनी बात रखते ही हैं।
अब समय आ गया है कि हिंदू अपनी आंखें खोलें और अपने नेताओं को भली प्रकार जांचे परखें तभी उन पर विश्वास करें। अन्यथा यह नेता लोग हिंदुओं को यूं ही बर्बाद करते रहेंगे।
Sanatan News only talks about Sanatan Dharma, don’t befriend don’t hate
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