लगभग सारे देश मे विरोध है पर मुख्यमंत्री जी समर्थन में हैं।
सनातन🚩समाचार🌎 : यह बहुत विचित्र बात है, एक ओर लगभग सारे देश में धर्म परिवर्तन किए जाने का विरोध होता रहता है, वहीं एक मुख्यमंत्री जी उन लोगों के समर्थक हैं जिन लोगों पर धर्म परिवर्तन करवाने का आरोप लगता रहता है। मिली जानकारी के अनुसार यह मामला है हरियाणा के जींद शहर का। यहां की अजमेर बस्ती में उस समय बवाल हो गया जब वहां पर वाल्मीकि समाज के लोगों सहित बहुत सारे लोग उस जगह पहुंच गए जहां पर ईसाई मिशनरी वाले लोग टेंट इत्यादि लगाकर अपना आयोजन कर रहे थे।
किससे परमिशन ली है ?
इस खबर के साथ दी गई वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि वहां पहुंचे हुए लोग जय वाल्मीकि और जय श्रीराम इत्यादि के नारे लगा रहे थे। इन नारों के बीच वहां पर काफी अफरातफरी का माहौल बन गया। यहां पहुंचे लोग इस आयोजन को करने वाले लोगों से पूछ रहे थे कि किससे परमिशन ली है ? परमिशन दिखाओ, पास्टर को बुलाओ और इस वीडियो को बनाने वाला व्यक्ति यह भी कह रहा है की कोई भी कोई भी टेंट को फाडेगा। पुलिस को बुलाया गया है, पुलिस अपने आप अपना काम करेगी। इस वीडियो में बहुत सारे लोग अपनी बातें बता रहे हैं। एक व्यक्ति कह रहा है कि ये अनाज के बदले धर्म परिवर्तन करवाते हैं।
सारे देश मे होता रहता है
और दूसरा कह रहा है कि इनकी ऐसी वीडियो भरी पड़ी हैं, जिनमें यह मुर्दों को जिंदा कर देते हैं तो यह करोना काल में कहां थे जब सारी दुनिया मर रही थी ? इस तरह की बहुत सारी बातें वहां पर होती दिख रही हैं। इस मौके पर आरोप लगाया जा रहा है कि ये लोग धर्मपरिवर्तन करवाते हैं। बतादें कि इस प्रकार के आयोजनों का लगभग सारे देश मे होता रहता है। पिछले दिनों पँजाब के मोगा शहर में भी ऐसा ही विरोध हुआ था जब ईसाई मत का प्रचार करने वालों ने घोषणा कर रखी थी कि इस होने वाली चंगाई सभा मे पँजाब के मुख्यमंत्री चरनजीत सिंह चन्नी भी शामिल होंगे परन्तु वो शामिल नहीं हुए। जसका कारण बताया जा रहा है कि विरोध के कारण ही मुख्यमंत्री ने वहाँ पहुंचना रद्द कर दिया वहीं पँजाब ग्रह मंत्रालय द्वारा बताया गया था कि मुख्यमंत्री जी का ऐसा कोई कार्यक्रम नहीं था।
बहरहाल इस सबके बाद अब दिनांक 16 दिसम्बर को पँजाब सरकार द्वारा अखबारों में एक विज्ञापन जारी किया गया था। जिसमे लिखा गया था 16 दिसम्बर को होने वाले राज्य स्तरीय क्रिसमिस समारोह की अध्यक्षता पँजाब के मिख्यमंत्री चरणजीत सिंह चंन्नी करेंगे। ऐसे में बड़ा सवाल ये पैदा होता है कि अगर ऐसे आयोजनों में लालच देकर धर्मपरिवर्तन किया जाता है तो इनमे मुख्यमंत्री जी क्या काम ? और अगर मुख्यमंत्री जी किसी ईसाई आयोजन की अध्यक्षता करते हैं तो इनके आयोजनों पर लालच देकर धर्मपरिवर्तन के आरोप क्यों ?
Here the protection of the Chief Minister and there the opposition to conversion, Valmiki Bhagwan ki Jai
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